लालच

अर्जुन थारु
२१ असार २०७८, सोमबार
लालच

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पप्पु भाइ पुलके काम का कैसिन चलटा ? पाँच बरसक् ठेक्का हो ओराइ सेक्बो किनाइ ? हजुर पाँच बरसमे टे नाइ ओरैना हस लाग्ठो १÷२ बरस आउर ठपठाप कैडेटो टे काम मजासे ओरैने रहे । मेयर, ठिके बा एकर बारेम् मै उप्पर बात करम ।

पप्पु लालची ठेकडरवा रहे । पुल बनाइबेर जौन ठाउँमे सामान ढेर लगाइ परना रहे उ ठाउँमे सामान कम लगाडेहे । इन्जिनियरके कहल जैसिन कामफें नाइ करे । जबफें अपन मनोमानी ढंगसे काम करे । उहिन पैंसासे किल मटलब रहिस् । कामदार ओइन सेलरी ओ सरकारी चिजमे ढेर लालच डेखाए ।

पप्पु भाइ सामानके चिन्ता नालेहो पुल बलगर हुइपरल । पुलमे लागे परना सामान सक्कु हमरे उपलब्ध करैबी । पप्पु ठिके बा हजुर अभिन सम टे पुलके काम मजैसे ओराइटा । हजुर ढुक्का रहबी । मेयरहे पटा नाइ रहे पप्पु गलत ढंगसे पुल बनाइटा कहिके । जैसिक टैसिक १७ करोडके लगानीमे ४३५ मिटरके पुल ७ बरसमे बनके ओराइल ।

पुल बनm कुछ महिना पर्से बर्खाफें परगैल । बर्साट ढेर हुइलेक ओरसे लडियामे बहिया जोरसे आगैल । पुल बन्लेक एक बरसफें नाइ हुइल रहिस ओ सामान आवस्यकतासे कम लगइलक् ओरसे पहिल बहियामे पुल भटकगैल ।
अर्जुन थारु
बारबर्दिया ५ बनघुस्री बर्दिया

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अर्जुन थारु